POETRY : नारी होना बड़े सौभाग्य की बात है,बेटी, बहन, मां और जीवनसंगिनी,इन रूपों में औरत की ये कहानी,दीपिका गेहलोद की कलम से

नारी होना बड़े सौभाग्य की बात है,बेटी, बहन, मां और जीवनसंगिनी,

POETRY : नारी होना बड़े सौभाग्य की बात है,बेटी, बहन, मां और जीवनसंगिनी,इन रूपों में औरत की ये कहानी,दीपिका गेहलोद की कलम से

नारी होना बड़े सौभाग्य की बात है,

बेटी, बहन, मां और जीवनसंगिनी हर रिश्ते को वो बड़े प्यार से निखारती है,
भूल जाती है खुद को लेकिन दूसरों को संवारती है,

भूल के अपनी ख्वाहिशों को,
 वह तुम्हारी ख्वाहिशों को सजाती है,

इसीलिए तो कहते हैं
कि बेटियां सौभाग्य से मिलती है,

संघर्षों से लड़ते लड़ते भी,
वह कभी नहीं हारती है,

झोंक देती है खुद को इम्तिहानों में, पर परिणाम तुम्हारे संवारती है,

जीवन की इस परीक्षा में लड़खड़ाती है,
पर वह झुकना नहीं जानती है,

 सहकर अपमान अपनों से ही, वह स्नेह की किरण तलाशती है,
खाती है ठोकरे जीवन की इस राह में, डगमगाती है, गिरती है, संभलती है और जीने की राह तलाशती है,

रहकर महलों में भी वो वनवास को चली जाती है,
 देवी होकर भी अग्नि परीक्षा को पार कर जाती है,
फिर थाम कर ममता का दामन धरती में समा जाती है,

सहती रहती आलोचनाओं को, कामयाब होकर वो दिखलाती है,
होकर शक्ति का स्वरूप भी, वो ममतामयी कहलाती है

इसीलिए नारी होना बडे़ सौभाग्य की बात है।

......दीपिका गेहलोद मंदसौर।