NEWS: नीमच जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान द्वारा जल मंदिर का उद्घाटन, इस परिवार के सहयोग से कार्यक्रम का आयोजन, पढ़े खबर

नीमच जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान द्वारा जल मंदिर का उद्घाटन, इस परिवार के सहयोग से कार्यक्रम का आयोजन, पढ़े खबर

NEWS: नीमच जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान द्वारा जल मंदिर का उद्घाटन, इस परिवार के सहयोग से कार्यक्रम का आयोजन, पढ़े खबर

नीमच। जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान की अध्यक्ष आशा सांभर ने बताया, सर्वप्रथम जल मंदिर पर स्वस्तिक बनाकर सभी को कुमकुम का टीका लगाकर नवकार मंत्र उच्चारण कर कार्यक्रम की शुरूआत की। मध्य प्रदेश रीजन के द्वारा सत्र की शुरुआत जल पिलाये, प्यास बुझाये, प्रकल्प के साथ आज जैन सोश्यल ग्रुप द्वारा चरम तीर्थकर भगवान महावीर स्वामी के जन्म कल्याणक महोत्सव के कार्यक्रमों की श्रंखला में आज जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान द्वारा जल मंदिर का उद्घाटन किया। 

इस दौरान वरिष्ठ पूर्व ज़ोन कोर्डिनेटर मनोहर सिंह लोढ़ा, वर्तमान रीजन के उपाध्यक्ष प्रकाश चौरड़िया, आल इंडिया जैन कांफ्रेंस के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य मनोहरलाल बंब, ग्रुप उड़ान के संरक्षक प्रदीप धाकड़, स्पोन्सर संस्थापक अध्यक्ष दिलीप डूंगरवाल, पीआरओ मनीष मोगरा, संस्कार अध्यक्ष मनीष नागोरी, प्रकाश बडोला, पारसजी जारोली-श्रीमती बडोला और मनीष पटवा आदि के कर कमलों द्वारा ग्रुप के सहज सरल सक्रिय दंपत्ति सदस्य अशोक, दीपेश श्रमण, बाबेल परिवार के सहयोग से कार्यक्रम किया गया। 

जैन सोश्यल ग्रुप उड़ान की सचिव-मधु धाकड़, कोषाध्यक्ष अजीत सांभर, संगिनी अध्यक्ष अनीता आंचलिया, सह सचिव आशीष जैन, मनोहरलाल जोधावत, सुरेन्द्र लोढ़ा, डॉ. एम.एल. जैन सा., श्याम सुंदर नवलखा, ग्रुप दंपत्ति सदस्य अनील भावना जैन, माया विरवाल आदि बड़ी संख्या में सभी की उपस्थिति रही। 

सभी वरिष्ठ पदाधिकारीयों द्वारा अशोक बाबेल का माला दुपट्टा पहनाकर स्वागत अभिनन्दन किया गया। जैसा कि आप सभी को विदित है कि जैन सोशल ग्रुप के आगामी सत्र का आगाज़ 2023-25 शुरूआत की। इस अवसर पर मध्यप्रदेश में सत्र की शुरुआत जल पिलाये, प्यास बुझाये प्रकल्प के साथ करना

यह हमारी अनंत पुण्यवाणी है कि, सत्र की शुरुआत में ही चरम तीर्थंकर भगवान श्री महावीर स्वामी का जन्म कल्याणक महोत्सव के शुभ अवसर पर म.प्र. रीजन की मंशा अनुसार उपरोक्त प्रकल्प के अंतर्गत मानवसेवा हेतु प्याऊजल पिलाये, प्यास बुझाये प्रकल्प को सफल बनाते हुए एवं प्रभु महावीर के सिद्धांत जियो और जीने दो को सार्थक बनाते हुए।